सुंदरनगर में ओल्ड पेंशन की मांग को लेकर किया धरना प्रर्दशन
बिजली बोर्ड कर्मचारी यूनियन के प्रदर्शन को इंजीनियर फ्रंट ने किया समर्थन
सुक्खू की सरकार पर भी अनदेखी के लगाए आरोप
बोर्ड निदेशक मंडल कर्मचारी यूनियन की बुधवार को हुई बैठक रही थी बेनतीजाNext 2 news Himachal
सुंदरनगर।
हिमाचल प्रदेश राज्य विद्युत परिषद इम्पलाइज यूनियन सुंदरनगर इकाई ने वीरवार को भोजन अवकाश के दौरान मुख्य अभियन्ता जनरेशन के कार्यालय के बाहर इकाई प्रधान करणव राणा की अध्यक्षता में विभिन्न मांगों को लेकर विरोध प्रदर्शन किया। जिसमें कर्मचारी और अभियन्तायों के अलावा पेनशनरज ने भी विरोध प्रदर्शन में भाग लिया। यूनियन पुरानी पेनशन वहाली को लेकर काफी समय से प्रदेश सरकार और बोर्ड मनेजमेंट से मांग कर रही है। लेकिन कोई नतिजा सामने नहीं आया। जिसके चलते मजबूरन पूरे प्रदेश में कर्मचारी और अभियन्ता संयुक्त रूप से विरोध दर्ज कर रहे है।
इम्पलाइज यूनियन के प्रदेश नेतृत्व मंें महासचिव रहे जगमेल सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री ने जीन बार विद्युत बोर्ड में अन्य कर्मचारियों की तर्ज पर ओ पी एस बहाल करने की घोषणा की है। लेकिन बोर्ड प्रबंधन इस दिशा में कोई पहल नहीं कर पाया है।
उन्होेंने कहा कि पिछली सरकार के दौरान पुरानी पेंनशन बहाली को लेकर संघर्षरत कर्मचारीयों का मार्गदर्शन किया और अग्रणी भूमिका आंदोलन में निभाई मगर दुर्भाग्य की बात है कि बिजली बोर्ड के कर्मचारियों की पुरानी पैनशन बहाली नहीं हुई। इसका क्या अर्थ निकाला जाए क्या यही व्यवस्था परिवर्तन है। इसके साथ-साथ उन्होने यह भी कहा कि बिजली बोर्ड के जनरेसन व टॉसमिसन विंग को अलग करने की जो मुहिम हिमाचल प्रदेश सरकार और बोर्ड मनेजमेंट द्वारा चलाई जा रही है। इसका बिजली बोर्ड कर्मचारी और अनियन्ता और पेन्शनरज पुरी तरह विरोध करते है और मांग करते है की बिजली बोर्ड के वर्तमान स्वरूप व ढाचे से छेड़ छाड़ न की जाये। इसके साथ साथ बिजली बोर्ड के पिछले दिनों चम्बा की चार छोटी परियोजनायों को
एचपीपीसीएल को देने का भी कड़ा विरोध जताया और मांग की प्रदेश सरकार इन परियोजनायों को बिजली बोर्ड को दिलाये। इसके अलावा बोर्ड मे स्मार्ट मीटरींग के फैसले पर पुन विचार किया जाये। क्योंकि वर्तमान समय में बिजली बोर्ड की स्थिति खराब चल रही है और इसका उपभेगताओं के उपर बोझ पड़ेगा और बोर्ड की वितिय स्थिति और खराब होगी। उन्होंने आउटसोर्स पर काम कर रहे कर्मचारीयों की मांगो को लेकर बोर्ड मनेजमेंट को सचेत किया, की समय रहते बैठक बुलाकर इनकी मांगों का समाधान निकाले विरोध प्रदर्शन में कर्मचारीयों को राज्य संगठन सचिव संदीप जम्बाल, इकाई सचिव रमेश शर्मा, बिहारी लाल, देवेन्द्र चौहान, हितेश कुमार व घनश्याम और पेनशनरज के प्रधान ई, के, एस जम्बाल व सचिव सोहन सिंह चौहान ने भी मौजूद हुए और कर्मचारीयों को एक जुट रहकर आगामी समय में संघर्ष के लिए तैयार रहने की अपील की।
बता दें कि बिजली बोर्ड कर्मचारी यूनियन और इंजीनियर फ्रंट की निदेशक मंडल से बुधवार को हुई बैठक बेनतीजा रही थी। बैठक में कर्मचारियों को ओपीएस बहाली, स्मार्ट मीटर नहीं लगाने और बोर्ड से परियोजनाएं नहीं छीनने का आश्वासन नहीं मिला था। इसके चलते फ्रंट ने आज प्रदर्शन किया। फ्रंट के सह संयोजक हीरा लाल वर्मा ने कहा कि सरकार ने अगर मांगों को जल्द पूरा नहीं किया तो आने वाले दिनों में उग्र आंदोलन करने से भी गुरेज नहीं किया जाएगा।
गौर हो कि राज्य सरकार ने सभी विभागों के लगभग 1.36 लाख कर्मचारियों को पुरानी पेंशन स्कीम दे दी है। इन कर्मचारियों का एनपीएस के तहत कटने वाला शेयर मई महीने से बंद हो गया है। मगर, बिजली बोर्ड कर्मचारियों का अभी भी एनपीएस में शेयर जा रहा है। बोर्ड प्रबंधन अपने कर्मचारियों को ओपीएस देने के पक्ष में नहीं है। इसलिए जून महीने में भी बिजली कर्मचारी प्रदेशव्यापी धरना दे चुके हैं। मगर, तब मुख्यमंत्री सुक्खू के आश्वासन पर इन्होंने अपनी हड़ताल खत्म की और ओपीएस जल्द देने की बात कही गई, लेकिन अभी भी इन्हें ओपीएस नहीं दी गई। अब बिजली कर्मचारी आर-पार की लड़ाई लड़ने की तैयारी में हैं। बिजली बोर्ड में 10 हजार से ज्यादा कर्मचारियों को व्च्ै मिलनी है।
....Ansari
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